अगर आप भी कर रहे हैं माँ स्कंदमाता की पूजा, तो इन बातों का रखें ध्यान | Agar aap bhee kar rahe hain Maa Skandamata kee pooja, to in baaton ka rakhen dhyaan

अगर आप भी कर रहे हैं माँ स्कंदमाता की पूजा, तो इन बातों का रखें ध्यान |

माँ स्कंदमाता नवरात्रि के पाँचवें दिन पूजी जाती हैं। इनकी आराधना से भक्तों को संतान सुख, बुद्धि, ज्ञान और समृद्धि का आशीर्वाद प्राप्त होता है। लेकिन, यदि आप माँ स्कंदमाता की पूजा कर रहे हैं, तो कुछ महत्वपूर्ण नियमों और विधियों का पालन करना आवश्यक है।

माँ स्कंदमाता की पूजा के दौरान ध्यान देने योग्य बातें:

1. शुद्धता का विशेष ध्यान रखें

माँ स्कंदमाता की पूजा करते समय मन और शरीर की शुद्धता बहुत आवश्यक है। सुबह स्नान कर स्वच्छ वस्त्र धारण करें और पूजा स्थान को भी शुद्ध करें। पूजा स्थल में किसी भी प्रकार की अशुद्धता न हो।

2. पूजा का शुभ मुहूर्त देखें

नवरात्रि में पंचमी तिथि को माँ स्कंदमाता की पूजा की जाती है। पूजा से पहले सही मुहूर्त का ध्यान रखना आवश्यक है ताकि माँ की कृपा पूर्ण रूप से प्राप्त हो सके।

3. पूजा सामग्री सही तरीके से अर्पित करें

माँ स्कंदमाता को पीले और लाल रंग के वस्त्र, सुगंधित फूल (विशेषकर पीले फूल), अक्षत, चंदन, धूप, दीप और फल अर्पित करना शुभ माना जाता है। माता को केले और खीर का भोग लगाना विशेष फलदायी होता है।

4. माँ के मंत्रों का जाप करें

पूजा के दौरान माँ स्कंदमाता के मंत्रों का जाप अवश्य करें। इससे मन एकाग्र होता है और माँ की कृपा जल्दी प्राप्त होती है। प्रमुख मंत्र इस प्रकार हैं:

  • "ॐ देवी स्कंदमातायै नमः"

  • "सिंहासनगता नित्यं पद्माश्रितकरद्वया। शुभदास्तु सदा देवी स्कन्दमाता यशस्विनी॥"

5. व्रत और नियमों का पालन करें

यदि आप नवरात्रि व्रत कर रहे हैं, तो सात्विक भोजन ग्रहण करें। मन को शांत रखें और बुरे विचारों से दूर रहें। प्याज, लहसुन और तामसिक भोजन का सेवन न करें।

6. माता को गोद भरने का विधान करें

माँ स्कंदमाता को विशेष रूप से सुहाग की सामग्री अर्पित करने का विधान है। लाल वस्त्र में सिंदूर, चूड़ी, महावर, लाल बिंदी, लाल फूल और चावल रखकर माँ को अर्पित करें। यह विशेष रूप से विवाहित स्त्रियों के लिए शुभ होता है।

7. दुर्गा सप्तशती या स्कंदमाता कथा का पाठ करें

माँ स्कंदमाता की महिमा का वर्णन करने वाली कथाओं का पाठ करें। दुर्गा सप्तशती के श्लोकों का पाठ करने से नकारात्मक शक्तियाँ दूर होती हैं।

8. आरती करें और प्रसाद बांटें

पूजा के अंत में माँ स्कंदमाता की आरती करें और प्रसाद वितरित करें। घर के सभी सदस्यों को पूजा में शामिल करें।

माँ स्कंदमाता की पूजा से प्राप्त होने वाले लाभ:

  • संतान सुख की प्राप्ति
  • बुद्धि और ज्ञान में वृद्धि
  • मानसिक शांति और आध्यात्मिक उन्नति
  • शत्रुओं से मुक्ति और कार्यों में सफलता
  • घर में सुख-शांति और समृद्धि की वृद्धि

अगर आप भी माँ स्कंदमाता की पूजा कर रहे हैं, तो इन महत्वपूर्ण बातों का ध्यान रखें और माँ की कृपा से अपने जीवन की सभी बाधाओं को दूर करें। जय माँ स्कंदमाता!

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