क्यों नहीं करने चाहिए भगवान गणेश की पीठ के दर्शन,Kyon Nahin Karane Chaahie Bhagavaan Ganesh Kee Peeth Ke Darshan
क्यों नहीं करने चाहिए भगवान गणेश की पीठ के दर्शन
भगवान गणेश के दर्शन करने का समय:-
मान्यता है कि सुबह उठकर गणेश जी के दर्शन करने चाहिए. बुधवार के दिन गणेश जी का मानसिक दर्शन करना चाहिए और उनके प्रिय नामों का जाप करना चाहिए. स्वप्न शास्त्र के मुताबिक, सपने में गणेश जी का आना बहुत शुभ संकेत माना जाता है और जल्द ही कोई शुभ समाचार मिल सकता है. अगर आपने ब्रह्म मुहूर्त में गणेश जी का सपना देखा है, तो यह बहुत ही शुभ होता है और कहा जाता है कि इस सपने का फल भी शीघ्र प्राप्त होता है. स्वप्न शास्त्र के मुताबिक, सपनों को किसी से साझा नहीं करना चाहिए, ऐसा करने से उनका शुभ फल प्राप्त नहीं होता. अगर सपने में गणेश भगवान के दर्शन होते हैं, तो इस बात का ज़िक्र किसी से न करें, वरना आप शुभ परिणाम से वंचित रह जाएंगे !
Kyon Nahin Karane Chaahie Bhagavaan Ganesh Kee Peeth Ke Darshan |
क्यों नहीं करने चाहिए भगवान गणेश की पीठ के दर्शन
श्री गणेश की मूर्ति के दर्शन करना शुभ होता है। इनके दर्शन मात्र से ही सभी कष्ट दूर हो जाते है। लेकिन आपको यह नहीं पता होगा कि इनके पीठ के दर्शन करने स हमारे घर में दरिद्रता का वास हो जाता है। चौक गए न आप। पर यह सत्य है। श्री गणेश की पीठ के दर्शन करने से हमारे घर में गरीबी का निवास हो जाता है जिसके कारण हमें कई परेशानियों से गुजरना पडता है। जानिए इनके पीठ के दर्शन करने से दरिद्रता का निवास क्यों होता है?
गणेशजी को रिद्धि-सिद्धि का दाता माना गया है। इनकी पीठ के दर्शन करना वर्जित किया गया है। गणेशजी के शरीर पर जीवन और ब्रह्मांड से जुड़े अंग निवास करते हैं। गणेशजी की सूंड पर धर्म विद्यमान है तो कानों पर ऋचाएं, दाएं हाथ में वर, बाएं हाथ में अन्न, पेट में समृद्धि, नाभी में ब्रह्मांड, आंखों में लक्ष्य, पैरों में सातों लोक और मस्तक में ब्रह्मलोक विद्यमान है। गणेशजी के सामने से दर्शन करने पर उपरोक्त सभी सुख-शांति और समृद्धि प्राप्त हो जाती है।
ऐसा माना जाता है श्रीगणेश की पीठ पर दरिद्रता का निवास होता है। गणेशजी की पीठ के दर्शन करने वाला व्यक्ति यदि बहुत धनवान भी हो तो उसके घर पर दरिद्रता का प्रभाव बढ़ जाता है। इसी वजह से इनकी पीठ नहीं देखना चाहिए। जाने-अनजाने पीठ देख ले तो श्री गणेश से क्षमा याचना कर उनका पूजन करें। तब बुरा प्रभाव नष्ट होगा।
गणेश जी की पीठ किधर होनी चाहिए?
पंडित विमल पारीक के अनुसार गणेश जी को विराजमान करने के लिए ब्रह्म स्थान, पूर्व दिशा और उत्तर पूर्व कोण शुभ माना गया है लेकिन भूलकर भी इन्हें दक्षिण और दक्षिण पश्चिम कोण यानी नैऋत्य में नहीं रखें।
गणेश में हमें क्या नहीं करना चाहिए?
भगवान गणेश की मूर्ति को लावारिस नहीं छोड़ना चाहिए और किसी न किसी को भगवान के साथ रखना चाहिए। बिना आरती और पूजा के कभी भी भगवान गणेश की मूर्ति को पानी में विसर्जित न करें ।
गणेश जी की पीठ क्यों नहीं देखनी चाहिए?
सच्चे मन से गणेश जी की आराधना की जाए तो सभी कष्ट दूर होते हैं. अयोध्या के ज्योतिष पंडित कल्कि राम बताते हैं कि ऐसी मान्यता है कि गणेश जी की पीठ के पीछे दरिद्रता का वास होता है. इसलिए श्रद्धालुओं को पीठ की ओर से गजानन के दर्शन नहीं करने चाहिए. ऐसा करने पर घर में गरीबी और दरिद्रता का वास होता है.
कौन सा गणेश भाग्यशाली है?
शांति, समृद्धि और अच्छे स्वास्थ्य की चाहत रखने वाले व्यक्ति को यह सलाह दी जाती है कि उसे घर में सफेद गणेश प्रतिमा लगाने पर विचार करना चाहिए। इसके अलावा आत्म उन्नति की चाह रखने वाले लोगों को भगवान गणेश की सिन्दूरी रंग की मूर्ति घर लानी चाहिए।
गणेश जी की मूर्ति क्यों नहीं गिफ्ट करनी चाहिए?
माना जाता है कि ऐसी मूर्तियां घर में रखना या उपहार में देना अच्छा नहीं माना जाता है। ऐसा माना जाता है कि अगर कोई अपनी बेटी की शादी में उपहार के रूप में भगवान गणेश की मूर्ति देता है, तो घर की लक्ष्मी के साथ-साथ गणेश भी उस घर से चले जाते हैं।
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